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'दरबारी विदुषक' शब्द मन मे आते ही आंखों मे बीरबल और तेनालीराम की छवि उभर आती हैं। दरबारी विदुषको के किस्से न सिर्फ इतिहास की मुख्य धारा का हिस्सा है बल्कि इनकी कहांनिया कथा साहित्य को भी समृद्ध करते...
कैसी यह उदासी छाई है ? कहाँ से यह विरानगी आई है ? दिल कुछ कहना चाहता है, पर लबों पर खामोशी छाई है , गुलज़ार रहते थे जो शहर कल तक, उसमें खालीपन की बयार आयी है । हौसलों की उड़ान पर जो उड़ा...
“दुनिया ने अनेक महामारियाँ देखी हैं; मानव जाति इनसे उबरी है” जब पूरी दुनिया इतिहास के सबसे कठिन दौरों में से एक दौर से गुजर रही है और निकट भविष्य के डर ने मानव जाति को जकड़ रखा है, आयकर अपीलीय न्यायाधिकरण...
स्वामी विवेकानंद जी ने शिकागो अमेरिका के विश्व धर्म सम्मेलन में हिंदू धर्म का प्रतिनिधित्व किया और 30 वर्ष की आयु में सार्वभौमिक पहचान दिलाई। स्वामी विवेकानंद के बारे में भारत के युवा क्या जानते हैं कितना जानते हैं शायद...
सात बातों का ध्यान रखें, यह देश हमारा प्यारा है। जान है तो जहान है, यही प्रधान का नारा है।। विश्व जहां डरा हुआ है हिम्मत अभी न हारे हैं रहे सलामत जनता अपनी प्रभुवर तेरे सहारे हैं जो जहां है वही रहे तीन मई तक टारा है सात...